Wednesday, June 13, 2012

जानिए इस्लाम के बारे में



मुस्लिम अक्सर ये दावा करते रहते हैं और अपनी छाती फुला कर बोलते रहते हैं कि हमारा धर्म तो काफी अच्छा और उदार है जिस कारण दुनिया में 52 मुस्लिम देश हैं... ये हैं, वो हैं... और न जाने क्या क्या.... और तो और... कुछ "पढ़े लिखे मूर्ख" किस्म के लोग जिन्हें कुछ लोग सेकुलर के नाम भी जानते हैं, बिना कुछ जाने-समझे उनकी हाँ में हाँ मिलाते रहते हैं और उन्हें भाई-भौजाई तक की संज्ञा दे देते हैं...!

इतना ही नहीं, मुस्लिम इस बात को जोर शोर से प्रचारित करते हैं कि इस्लाम में जबरदस्ती नहीं है और हरेक को अपनी पसंद का धर्म बदलने का अधिकार है.... जबकि यह बातें सिर्फ हिन्दुओं और गैर मुस्लिमों को रिझाने के लिए कही जाती हैं ताकि उन्हें इस्लाम रूपी दलदल में फंसाया जा सके...!

अरे मूर्ख सेकुलरो आप बहुत भाग्यशाली हो कि आपका जन्म भारत में हुआ है, जहां इस्लामी हुकूमत नहीं है ... क्योंकि इस्लाम दूसरे धर्म के लोगों को इस्लाम अपनाने की अनुमति तो देता है, लेकिन इस्लाम छोड़कर अपनी पसंद के किसी और धर्म में जाने की इजाजत नहीं देता है.. क्योंकि उनके मन में हमेशा ये डर बैठा रहता है कि अगर कोई इस्लाम छोड़कर बाहर गया तो उनका भांडा फूट जाएगा... !

इस्लाम छोड़कर वापस अपने धर्म में जाने को इस्लाम में "इरतदाद ( ﺍﺭﺗﺪﺍﺩ) या धर्मभ्रष्टता कहा जाता है.. और ऐसा करने वाले को "मुर्तद ( ﻣُﺮﺕ ) कहा जाता है ..! पिग्गम्बर मुहम्मद ने ऐसे व्यक्तियों के लिए कुरान में क्या-क्या प्रावधान कर रखे हैं ..... जरा आप भी पढ़ें और ज्ञान बढ़ाएं .........

अगर तुमने ईमान लाने के बाद इरतदाद किया तो हम तुम्हें कठोर यातनाएं देंगे....सूरा - तौबा 9 :66

लोग चाहते हैं कि तुम फिर से उन्ही की तरह वैसे ही काफ़िर हो जाओ जैसे वह खुद है तो ऐसे लोग जहाँ मिलें उन्हें पकड़ो और "उनका क़त्ल कर दो" ... और कोई उनकी सहायता नहीं करे .................सूरा -निसा 4 :89

1. मर्दों के लिए इस्लाम त्यागने की सजा मुहम्मद बिन मुस्लिम ने कहा कि मैंने अबू जाफर से "मुर्तद" ( इस्लाम त्यागने वाला ) के बारे में पूछा तो उन्होंने कहा जो भी इस्लाम से हट जाये और उसकी बात पर अविश्वास करे जो अल्लाह ने रसूल पर नाजिल की है तो ऐसे व्यक्ति के लिए पश्चाताप के लिए कोई रास्ता नहीं है और "उसे क़त्ल करना अनिवार्य है" तथा उसकी पत्नी की किसी मुसलमान से शादी करा देना चाहिए एवं उसकी विरासत की संपत्ति और बच्चे मुसलमानों में बाँट देना चाहिए "......Al-Kulayni, Al-Kaafi, vol. 7, pg. 256, hadeeth # 1 Mir’aat Al- `Uqool, vol. 23, pg. 396

2. दूसरा धर्म अपनाने की सजा अली बिन जाफर से उसके भाई अबी अल हसन कहा कि एक मुसलमान ईसाई बन गया है तो हसन ने कहा उसे क़त्ल कर देना चाहिए ...फिर अली ने पूछा कि अगर कोई ईसाई मुसलमान हो जाये और फिर से ईसाई हो जाये तो क्या करना चाहिए ...? हसन ने कहा पहले तो उस से तौबा करने को कहो ,अगर नहीं माने तो उसे क़त्ल कर दो .और उसकी पत्नी और संपत्ति मुसलमानों में बाँट दो "....Mir’aat Al- `Uqool, vol. 23, pg. 396

3-औरतों के लिए इस्लाम त्यागने की सजा गियास बिन इब्राहीम कहा कि जाफर बिन मुहम्मद ने अपने पिता अली से पूछा कि अगर कोई औरत इस्लाम त्याग दे तो उसका क्या करना चाहिए ......? अली ने कहा उसे क़त्ल नहीं करो ....... बल्कि कैद करो फिर मुसलमानों के हाथ बेच डालो ."...... Al- Sadooq, Man Laa YaHDuruh Al- Faqeeh, vol. 3, Baab Al-Irtidaad, pg. 150, hadeeth # 3549

4 -रसूल के विरुद्ध बोलने की सजा अम्मार बिन अल शबाती ने कहा कि मैंने अबा अब्दुल्लाह से सुना है कि तुम में से जो भी मुस्लिम इस्लाम का त्याग करे और मुहम्मद की नबूवत से इंकार करे और उसे झूठ बताये, तो उसका खून बहाना और क़त्ल करना जायज है.... और जिस दिन तुम यह बात सुनो उस दिन से उसकी पत्नी उस से अलग कर दो और तुम्हारे नेता को चाहिए कि अगर वह औरत तौबा नहीं करे तो उसे "गुलाम बनाकर अपने लिए रख" ले और बाकी सम्पति बाँट दे .....Al-Kulayni, Al-Kaafi, vol. 7, pg. 257-258, hadeeth # 11

अब आप खुद भी समझ गए होंगे कि लोग चाहते हुए भी इस्लाम छोड़ कर क्यों नहीं जा पाते हैं....??????

अरे मूर्ख सेकुलरो भगवान का लाख-लाख बार धन्यवाद दो कि तुम हिन्दू में पैदा हुए... तभी तुम हिन्दुओं को गाली दे कर भी हिन्दू बने हुए हो अगरचे तुम मुस्लिम में पैदा हुए होते तो तुम्हारे ही भाई-बंधू तुम्हे कब का "मुहम्मद नशीन" अर्थात "नारकीय" कर चुके होते.....!

इसलिए .... फालतू की नौटंकी तथा झूठा भाई-चारा बंद करो और गर्व से कहो हम हिन्दू हैं...!
जय महाकाल...!!!

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